साप्ताहिक समीक्षा- हल्दी

19-Oct-2025 02:13 PM

हल्दी की कीमतों में तेजी : मुनाफावसूली बिकवाली संभव

नई दिल्ली। चालू सप्ताह के दौरान हल्दी की कीमतों में 12/15 रुपए प्रति किलो की तेजी दर्ज की गई है। उल्लेखनीय है कि प्रमुख उत्पादक राज्यों में वर्तमान में मौसम साफ चल रहा है जिस कारण से नुकसान के समाचार मिलने शुरू हो गए हैं। सूत्रों का कहना है कि एक ओर जहां निजामाबाद लाइन पर हल्दी फसल को 15/20 प्रतिशत के नुकसान के समाचार मिल रहे हैं। वहीं मराठवाड़ा में भी 10/15 प्रतिशत नुकसान की संभावना व्यक्त की जा रही है। हालांकि चालू सीजन के दौरान उत्पादक केन्द्रों पर हल्दी की बिजाई का क्षेत्रफल 25/30 प्रतिशत अधिक होने के व्यापारिक अनुमान लगाए जा रहे हैं। सूत्रों का मानना है कि नुकसान के बाद भी हल्दी की आने वाली फसल गत वर्ष की तुलना में अधिक रहेगी। क्योंकि फसल को पर्याप्त पानी मिलने के कारण जिन खेतों में पानी जमा नहीं हुआ है वहां पर प्रति हेक्टेयर उत्पादकता में वृद्धि होगी। हल्दी का मुख्यत उत्पादन महाराष्ट्र, तमिलनाडु, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश में होता है। हल्दी की नई फसल की आवक सबसे पहले निजामाबाद लाइन पर शुरू होगी जोकि संभवतः जनवरी माह के अंत तक शुरू होने की संभावना। 
आवक 
हाल ही में हल्दी की कीमतों में 12/15 रुपए प्रति किलो की तेजी आने के कारण मंडियों में आवक बढ़ने लगी है। इरोड मंडी 
में आवक बढ़कर 4500/5000 बोरी दैनिक की होने लगी है। जबकि मराठवाड़ा की हिंगोली मंडी मंडी में 7000/7500 बोरी एवं बसमत 3000/4000 बोरी की आवक हो रही है। जबकि स्टॉक की कमी के चलते निजामाबाद, दुग्गीराला, वारंगल मंडी में आवक 300/500 बोरी की चल रही है। 
मन्दा तेजी 
व्यापारियों का मानना है कि अल्पकाल के दौरान हल्दी की कीमतों में अच्छी तेजी आने के कारण बाजार में मुनाफावसूली का दर बना हुआ है। जिस कारण से कुछ समय के लिए भाव घट सकते हैं। लेकिन भविष्य अच्छा है। क्योंकि उत्पादक केन्द्रों पर स्टॉक कम रहने के कारण आगामी दिनों में भाव फिर बढ़ने की संभावना है। वर्तमान में दिल्ली बाजार में हल्दी सिंगल पॉलिश गट्ठा का भाव 142/144 रुपए प्रति किलो बोला जा रहा है जबकि सितम्बर माह के भाव 126/128 रुपए प्रति किलो चल रहा था। सूत्रों का मानना है कि नवम्बर माह में लोकल एवं निर्यातकों की लिवाली में सुधार होने की संभावना के चलते कीमतों में तेजी रहने के अनुमान लगाए जा रहे हैं। वायदा बाजार में भी चालू सप्ताह के दौरान हल्दी की कीमतों तेजी के साथ बोली गई। अक्टूबर की हल्दी का वायदा 12170 रुपए खुलने के पश्चात 13500 रुपए पर बंद हुआ। जबकि दिसम्बर माह का वायदा सप्ताह के अंत में 14718 रुपए पर बंद हुआ। सप्ताह के शुरू में भाव 12652 रुपए पर खुला था।  
स्टॉक अनुमान 
जानकार सूत्रों का कहना है कि वर्तमान में उत्पादक केन्द्रों की मंडियों सहित खपत केन्द्रों पर हल्दी का स्टॉक 25/28 लाख बोरी होने के अनुमान लगाए जा रहे हैं। एक अनुमान के अनुसार मराठवाड़ा में स्टॉक 8/10 लाख बोरी माना जा रहा है। जबकि सांगली में स्टॉक 3/3.50 लाख बोरी होने की संभावना है। निजामाबाद में स्टॉक 3/4 लाख बोरी होने की संभावना है। दुग्गीराला एवं वारंगल में स्टॉक 2/3 लाख बोरी होने के अनुमान लगाए जा रहे है। इसके अलावा खपत केन्द्रों पर भी 5/6 लाख बोरी स्टॉक होने के व्यापारिक अनुमान लगाए जा रहे हैं।
निर्यात 
चालू सीजन के दौरान हल्दी के भाव नीचे होने के कारण निर्यात आय में 5 प्रतिशत की कमी दर्ज की गई जबकि मात्रात्मक रूप में निर्यात 2 प्रतिशत अधिक रहा। मसाला बोर्ड द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार चालू सीजन के प्रथम चार माह अप्रैल-जुलाई- 2025 के दौरान हल्दी का निर्यात 63020 टन का रहा और निर्यात से प्राप्त आय 965.84 करोड़ की रही। जबकि गत वर्ष इसी समयावधि में हल्दी का निर्यात 61610 टन का रहा और निर्यात से प्राप्त आय 1011.59 करोड़ की रही थी। वर्ष 2024-25 के दौरान हल्दी का कुल निर्यात 176325.34 टन का रहा था और निर्यात तक प्राप्त आय 2885.39 करोड़ की रही थी।