ओएमएसएस के तहत गेहूं की बिक्री अगस्त से आरंभ होने की संभावना
03-Jul-2025 10:58 AM

नई दिल्ली। उद्योग व्यापार क्षेत्र का मानना है कि केन्द्र सरकार अगले महीने यानी अगस्त से खुले बाजार बिक्री योजना (ओएमएसएस) के अंतर्गत गेहूं बेचने की प्रक्रिया आरंभ कर सकती है और इसे 31 मार्च 2026 तक बरकरार रखा जा सकता है।
ओएमएसएस के तहत 60-70 लाख टन गेहूं की बिक्री का ऑफर दिए जाने की संभावना है। समझा जाता है कि केन्द्रीय व्यय सचिव की अध्यक्षता वाले एक उच्चाधिकार प्राप्त अंतर- मंत्रालयी पैनल द्वारा ओएमएसएस वाले गेहूं के लिए 2550 रुपए प्रति क्विंटल के न्यूनतम आरक्षित मूल्य (रिजर्व प्राइस) को अनुमोदित कर दिया गया जबकि परिवहन खर्च इससे अलग होगा। पिछले साल की तुलना में इस बार गेहूं का आरक्षित मूल्य काफी ऊंचा नियत हुआ है।
पैनल ने कहा है कि ओएमएसएस के तहत गेहूं के कितने स्टॉक का ऑफर दिया जाएगा और बिक्री की समयावधि कब से कब तक रहेगाी- इसका निर्णय भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) द्वारा खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण विभाग के साथ विचार-विमर्श करके लिया जाएगा।
लेकिन इस बिक्री की मात्रा का निर्धारण करने से पूर्व खाद्य निगम को सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) में आपूर्ति के साथ-साथ न्यूनतम बफर स्टॉक तथा 20 लाख टन के अतिरिक्त आयात कालीन स्टॉक के लिए आवश्यक गेहूं का स्टॉक अलग रखना पड़ेगा और इसके बाद जो शेष स्टॉक बचेगा उसकी बिक्री की जा सकती है।
उल्लेखनीय है कि पीडीएस में आपूर्ति के लिए लगभग 200 लाख टन गेहूं की जरूरत पड़ती है जबकि 1 अप्रैल को केन्द्रीय पूल में कम से कम 75 लाख टन गेहूं का स्टॉक अवश्य उपलब्ध होना चाहिए।
इसके अलावा 20 लाख टन का अतिरिक्त आयात कालीन स्टॉक भी रहना चाहिए। इस तरह भारतीय खाद्य निगम को सर्वप्रथम 295 लाख टन गेहूं का स्टॉक अलग रखना पड़ेगा।
चालू वर्ष के दौरान केन्द्रीय पूल के लिए 301 लाख टन से कुछ अधिक गेहूं खरीद गया है जो पिछले साल की खरीद 266 लाख टन से काफी अधिक है।
इसके फलस्वरूप 1 जुलाई 2025 को सरकारी गोदामों में गेहूं का स्टॉक बढ़कर 365 लाख टन से ऊपर पहुंच गया जिसमें पिछला बकाया स्टॉक भी शामिल है।
इस तरह खाद्य निगम को ओएमएसएस में बेचने के लिए 45-70 लाख टन गेहूं का स्टॉक प्राप्त होगा। पिछले साल खुले बाजार बिक्री योजना के अंतर्गत केवल 30 लाख टन गेहूं बेचा गया।
इस बार गेहूं की सरकारी खरीद में करीब 35 लाख टन की बढ़ोत्तरी हुई है और उपलब्ध स्टॉक को देखते हुए सरकार ओएमएसएस में 60 लाख टन की बिक्री का ऑफर आसानी से दे सकती है।
इससे फ्लोर मिलर्स एवं प्रोसेसर्स को खासकर त्यौहारी सीजन के दौरान अच्छी मात्रा में गेहूं का स्टॉक प्राप्त होगा और नवम्बर-दिसम्बर से जनवरी-मार्च तक गेहूं के लिए कठिन संघर्ष नहीं करना पड़ेगा।