मगज-तरबूज उद्योग पर संकट के बादल - सरकार आयात खोले
28-Apr-2025 12:41 PM

नई दिल्ली। प्रमुख उत्पादक राज्य राजस्थान के जोधपुर, ओसिया में संचालित लगभग 80 से अधिक उद्योगों पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं। मगर सरकार द्वारा आयात न खोले जाने के कारण हजारों लोगों का रोजगार खतरे में हैं।
उद्योग पर खतरा
वर्तमान में प्रोसेसरों के पास कच्चे माल की उपलब्धता न होने के कारण उद्योग बंदी के कगार पर है। अगर जल्द आयात की अनुमति नहीं देती है तो मजबूरनवश व्यापारियों को अपने उद्योग बंद करने पड़ेंगे।
व्यापारियों की मांग
राजस्थान तरबूज मगज इंडस्ट्रीज एसो० ने विदेश व्यापार निदेशालय के नाम एक ज्ञापन सौंपकर आग्रह किया है कि तीन माह के लिए स्थाई रूप से मगज-तरबूज का आयात खोलकर इंडस्ट्रीज को राहत प्रदान करें अन्यथा कोटा प्रणाली के अंतर्गत वास्तविक इंडस्ट्रीज को आयात की अनुमति दे। अन्य इंडस्ट्रीज जैसे की दाल मिल एवं मूंगफली इंडस्ट्रीज को इसका लाभ नहीं दिया जाना चाहिए।
कीमतों में तेजी
आयात खुलने में देरी एवं हाजिर में कच्चे माल की कमी के चलते मगज-तरबूज की कीमतों में लगतार वृद्धि हो रही है और विगत एक सप्ताह के दौरान कीमतों में 100 रुपए प्रति किलो की तेजी दर्ज की जा चुकी है।
उल्लेखनीय है कि गत सप्ताह जोधपुर में मगज-तरबूज जम्बो का भाव 430 रुपए एवं सादिर का भाव 425 रुपए चल रहा था जोकि वर्तमान में बढ़कर क्रमश: 530 रुपए एवं 521 रुपए हो गया है। सूत्रों का कहना है कि अगर सरकार आयात पर जल्दी ही कोई निर्णय नहीं लेती है तो कीमतों में रिकॉर्ड तेजी दर्ज की जा सकती है।
जानकारों का कहना है कि लगातार बढ़ती कीमतों के कारण व्यापारिक वर्ग को सुझाव दिया जाता है कि मांग के अनुसार ही व्यापार करें क्योंकि आयात खुलने या मुनाफावसूली बिकवाली बढ़ने से कीमतों में मंदा आने की संभावना है।